बिहार की 7 माँगें प्रधानमंत्री से : नागरिक एजेंडा 2025



बिहार की 7 माँगें प्रधानमंत्री से : नागरिक एजेंडा 2025

22 अगस्त 2025, सुबह 10:00 बजे, बिहार की जनता अपनी आवाज़ बुलंद करने जा रही है। अभियान का नाम है — #Bihar7DemandsToModi। यह केवल एक सोशल मीडिया ट्रेंड नहीं बल्कि करोड़ों बिहारी नागरिकों की आकांक्षाओं का स्वर है।

बिहार वर्षों से उपेक्षा का शिकार रहा है। यहाँ की प्रतिभा, कृषि क्षमता, उद्योग की संभावना और ज्ञान की विरासत सब मौजूद हैं, परंतु विकास की रफ्तार हमेशा थमी रही है। अब लोग दान या रहम नहीं, बल्कि अपने अधिकारों की माँग कर रहे हैं।


1. ग्रेटर पटना और रिंग रोड

राजधानी पटना की स्थिति अव्यवस्थित है—ट्रैफिक, भीड़ और अनियोजित विस्तार ने इसे जकड़ रखा है। जनता चाहती है कि ग्रेटर पटना प्रोजेक्ट और रिंग रोड बने, जिससे यातायात सुचारु हो, शहर का विस्तार आधुनिक ढंग से हो और पटना एक सशक्त महानगर बने।


2. मेगा आईटी सिटी

बिहार का युवा पूरे देश और दुनिया में आईटी क्षेत्र में अपनी पहचान बना रहा है। लेकिन राज्य में अब तक कोई बड़ा आईटी हब नहीं है। एक मेगा आईटी सिटी से लाखों रोजगार सृजित होंगे, युवाओं का पलायन रुकेगा और बिहार डिजिटल अर्थव्यवस्था में अपनी जगह बना पाएगा।


3. पीएम मित्रा टेक्सटाइल पार्क

भागलपुरी सिल्क और बिहार की बुनकरी परंपरा सदियों पुरानी है। मगर आधुनिक सुविधाओं की कमी से यह उद्योग पिछड़ गया है। पीएम मित्रा टेक्सटाइल पार्क की स्थापना से बुनकरों को सहारा मिलेगा, निर्यात बढ़ेगा और बिहार का कपड़ा उद्योग नई पहचान पाएगा।


4. डिफेंस कॉरिडोर

अन्य राज्यों में डिफेंस इंडस्ट्रियल कॉरिडोर बने, लेकिन बिहार को अब तक दरकिनार किया गया। बिहार में डिफेंस कॉरिडोर बनने से न केवल रोज़गार पैदा होगा बल्कि राज्य की रणनीतिक महत्ता भी बढ़ेगी और संतुलित औद्योगिकीकरण को गति मिलेगी।


5. तीन क्षेत्रीय तीव्र परिवहन प्रणाली (RRTS)

विकास का आधार है—बेहतर कनेक्टिविटी। बिहार की माँग है कि तीन RRTS कॉरिडोर शुरू हों, जो पटना को प्रमुख शहरों और पड़ोसी राज्यों से जोड़ें। तेज़ यात्रा समय, व्यापार के नए अवसर और राष्ट्रीय अर्थव्यवस्था से जुड़ाव—ये सब इससे संभव होगा।


6. सभी संभागों में PGI स्तर के अस्पताल

बिहार की स्वास्थ्य सेवाएँ आज भी देश में सबसे पिछड़ी मानी जाती हैं। जनता की माँग है कि हर प्रशासनिक संभाग में PGI स्तर के अस्पताल बने। इससे मरीजों का दिल्ली, कोलकाता या बनारस जाना कम होगा और हजारों जिंदगियाँ बचेंगी।


7. नॉलेज पार्क

बिहार कभी नालंदा और विक्रमशिला जैसी विश्वप्रसिद्ध शिक्षा स्थली रहा है। जनता चाहती है कि एक आधुनिक नॉलेज पार्क बने, जिसमें शोध केंद्र, विश्वविद्यालय और कौशल विकास हब हों। इससे बिहार अपनी ज्ञान परंपरा को फिर से जीवित करेगा और युवाओं को 21वीं सदी की प्रतिस्पर्धा के योग्य बनाएगा।


इन माँगों का महत्व

ये सात माँगें केवल प्रोजेक्ट नहीं हैं, बल्कि बिहार के परिवर्तन की रूपरेखा हैं। हर माँग विकास की अलग कमी को भरती है—बुनियादी ढाँचा, रोजगार, उद्योग, रक्षा, स्वास्थ्य, कनेक्टिविटी और शिक्षा। साथ मिलकर ये बिहार को आत्मनिर्भर, आधुनिक और सशक्त बनाएंगी।


नागरिकों का संदेश

#Bihar7DemandsToModi केवल एक नारा नहीं बल्कि जनांदोलन है।
जनता कह रही है—
📢 हमें रहम नहीं, हक चाहिए।
📢 हमें नारे नहीं, काम चाहिए।
📢 हमें वादे नहीं, विकास चाहिए।


जय बिहार, जय हिंद।



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